चना साग का परिचय
Introduction of Gram
ठंड का मौसम और हरी साग भाजी, वाह मजा ही आ जाता है, और आए भी तो क्यों न भला। ज्यादातर हरी सब्जियां सर्दियों के मौसम में ही तो मिलती है। बाजरा, मक्का की रोटी के साथ तो और भी शानदार स्वाद आता है। (चने के साग के स्वास्थ्य लाभ और नुकसान)
हरे साग स्वास्थ्य के लिए बहुत ही फायदेमंद होते हैं। इन साग में पालक, धनिया, सरसों, बथुआ, चंदेला, मेथी, चना आदि प्रमुख हैं। सर्दियों के मौसम में तरह-तरह के हरे साग मिलते हैं। कुछ लोग हरी-साग सब्जियां तब खाते हैं, जब बीमार पड़ते हैं, अगर नियमित रूप से इन साग को खाया जाए तो अनेकों रोग नष्ट हो जाते हैं और बीमार होने की संभावना बहुत कम हो जाती है।
चना क्या है?
What is Chickpea (Chana)?
ठंड के मौसम में उगने वाला एक खास साग है, जो सर्दियों में खूब खाया जाता है और इसे लोग खूब पसंद भी करते हैं। हरी भरी पत्तेदार सब्जी में चने का साग भी प्रमुख हैं। यह सेहत के लिए गुणकारी माना जाता है। चने का साग पौष्टिक, गुणकारी और स्वादिष्ट होता है। यह मनभावन होता है।
चना एक झाड़ीनुमा पौधा है, जिसमे छोटे छोटे पत्ते आते है। इस पौधे का आकार लगभग 1 फीट ऊंचा होता है। यह हरे रंग के पत्तों से सुसज्जित रहता है। बड़ा होने पर इसमें हरे रंग के फल आते हैं, जो एक आवरण से ढका होता है। यह खाने में अत्यंत स्वादिष्ट एवं गुणकारी होता है। इसके पत्तों का स्वाद नमकीन, खारा व कसैला होता है। इसके पत्तों से मनमोहक सुगंध आती है। यदि अनाजों में तुलना की जाय तो चना सबसे ताकतवर अनाज होता है।
चना खाने का सही समय
Right time to eat chana (Gram)
चना वैसे तो किसी भी मौसम में खाया जा सकता है। किंतु चना साग का सेवन सर्दियों के मौसम में ही किया जाना चाहिए, क्योंकि चना गर्म प्रकृति का होता है। यह शरीर में गर्मी पैदा करता है।
चना के अन्य भाषाओं में नाम –
Green Gram Leaves Name in Other Languages
साग को हरा चना, टेट, लीला चणा, चणा नी भाजी आदि नामों से जाना जाता है।
चना के साग की तासीर क्या है?
यह साग गर्म प्रकृति का होता है। इसलिए इसे सर्दियों में खाया जाता है और यह सर्दियों में ही उगाया जाता है। किंतु हरे साग को सुखाने के बाद इसकी प्रकृति बदल जाती है और यह शीतल प्रकृति का हो जाता है।
चना के साग के रोगों में फायदे
चने का साग सिर्फ स्वाद में ही नहीं बल्कि बीमारियों में भी बहुत लाभ देता है। यह गर्मियों में लू और सर्दियों में फ्लू, सर्दी-जुकाम, खांसी जैसी बीमारियों से बचाता है। चने का साग इम्यूनिटी को बूस्टर के रूप में कारगर माना जाता है। यह रक्त संचरण को नियंत्रित करता है। यह कब्ज, मधुमेह, पीलिया, लू, अपच आदि रोगों में भी बहुत फायदेमंद माना जाता है।
चना में पाए जाने वाले प्रमुख घटक और तत्व
इस साग में अनेकों प्रकार के खनिज लवण पाए जाते हैं। इसमें कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन, फाइबर, कैल्शियम, आयरन,विटामिन आदि मुख्य रूप से पाये जाते हैं।
चने के साग के स्वास्थ्य लाभ
Chane Ke Saag Khane ke Fayde
गर्मियों में लू या गर्म हवाओं से बचाता है चना का साग –
In summer, gram greens protects from heat stroke or hot winds in Hindi
चना के साग के अनेकों फायदे है। लेकिन एक ऐसा फायदा जो जांचा परखा गया है वह है लू से बचाव। चने के साग के सूखे पत्तों को पानी में भिगोकर पैरों के तालुआ और हथेली पर मलने से लू नहीं लगती है। यह लू से हमारी रक्षा करता है।
मधुमेह रोग में चने के साग के फायदे
Benefits of gram greens in diabetes
मधुमेह या शक्कर के रोगियों के लिए चने का साग फायदेमंद होता है। यह साग खाने में स्वादिष्ट और पौष्टिक होता है। इस साग में पाया जाने वाला कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन और फाइबर डायबिटीज को नियंत्रित करने में मदद करता है।
रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में चना का साग –
Gram Leaves in Immunity Boost in Hindi
सर्दियों में चने के साग को अपने भोजन में जरूर शामिल करना चाहिए। ठंड के मौसम में चने के साग का सेवन कभी कभी अवश्य करना चाहिए। यह शरीर में इम्यूनिटी बूस्ट करता है और साथ ही इंफेक्शन, खांसी, बुखार, सर्दी-जुकाम आदि समस्याओं से हमारी रक्षा करता है।
शरीर का वजन कम करने में चना के साग के फायदे
Benefits of gram greens in reducing body weight
मोटापा एक आम समस्या हो गई है। आजकल जंक फ़ूड, फास्टफुड के सेवन और मेहनत का काम कम होने के कारण शरीर में फैट की मात्रा बढ़ जाती है, जिससे मोटापे की समस्या होती है। चने का साग मोटापे के लिए लाभदायक हो सकता है। चने के साग में कैलोरी की मात्रा बहुत कम पाई जाती है जो वजन को नियंत्रित करने में मददगार होता है।
कब्ज रोग में चना साग के फायदे
Benefits of Chana Saag in Constipation
कब्ज की समस्या आमतौर पर अधिक खाना खा लेने से हो जाती है अथवा गरिष्ट भोजन से भी यह परेशानी हो सकती है। चने के साग में प्रचुर मात्रा में प्रोटीन पाया जाता है। यह रक्त संचरण को भी संतुलित रखता है।
चना खाने के नुकसान –
Disadvantages of eating gram –
चना गर्म प्रकृति का साग है। यह शरीर में गैस की स्थिति पैदा कर सकता है। इसके अधिक सेवन से पेट में गैस की समस्या हो सकती है।