अधिकमास में निंदित कार्य
अधिकमास में निंदित कार्य मलमास के रूप में निन्दित इस अधिक मास को पुरूषोत्तम ने अपना नाम देकर कहा है कि, अब मैं इस अधिक मास का स्वामी हो गया हूँ। अतः सम्पूर्ण विश्व इसको सर्वथा विशुद्ध मानेगा और मेरी सादृश्यता प्राप्त कर यह मास अब सभी मासों का अधिपति, विश्व-वन्द्य एवं जगतपूज्य होगा। इसमें […]
अधिकमास में निंदित कार्य Read More »